Category: प्रेरणादायक कहानियाँ

प्रेरणादायक कहानियाँ

दो मछलियों को खाने के लिए बटवारे की कहानी

दो मछलियों को खाने के लिए बटवारे की कहानी

दो मछलियों को खाने के लिए बटवारे की कहानी:- मीलान में संत आम्ब्रोजो का उत्सव चल रहा था। आस-पास के गांवों से अनगिनत लोग अपने कुल देवता के समारोह में सम्मिलित होने शहर आए हुए थे। शहर के सारे होटल, कॉफी घर, सराय आदि खचाखच भरे हुए थे और सभी का धंधा जोर-शोर से चल […]

धनवान सो सामर्थ्यवान: एक ऐसे युवक की कहानी जो बिना किसी अपराध के जेल की सजा भुगत रहा था।

धनवान सो सामर्थ्यवान

धनवान सो सामर्थ्यवान:- यह कहानी एक ऐसे युवक की है जो बिना किसी अपराध के जेल की सजा भुगत रहा था। दिन भर खाली बैठा-बैठा क्या करता सो वक्त काटने के लिए वह जेल की दीवारों और फर्श पर कोयले से लिखता रहता- ‘धनवान सो सामर्थ्यवान।’ सिपाही उसे देख कर आपस में हंसते- बतियाते पर […]

क्रोध बना वरदान: कुसंगति में फँसें लड़के की कहानी

क्रोध बना वरदान

क्रोध बना वरदान:- जैन धर्म में अनेक महापुरुष हुए हैं। उनमें से एक नाम है सिद्धर्षि सिद्धर्षि का जन्म गुजरात के श्रीमालपुर में हुआ था इनके पिता थे, शुभंकर और माता का नाम था लक्ष्मी सिद्धर्षि के दादा सुप्रभदेव गुजरात के राजा बर्मलात के मंत्री थे। क्रोध बना वरदान सिद्धर्षि को बड़े लाड़-प्यार से पाला […]

बुद्धिमान मंत्री की सूझबूझ: राजा के दरबार के बहुत बुद्धिमान मंत्री की कहानी

बुद्धिमान मंत्री की सूझबूझ

बुद्धिमान मंत्री की सूझबूझ:- उज्ज्वल नक्षत्रों में नंद के दरबार में महामात्य शकटाल उनके पिता थे। शकटाल बहुत बुद्धिमान मंत्री थे। राजा नंद उनकी सूझबूझ से बहुत प्रभावित था। मंत्री शकटाल के दो पुत्र स्थूलभद्र तथा श्रीयक थे। उनकी सात बेटियां थीं। उनकी स्मरण शक्ति अद्भुत थी पहली पुत्री एक बार में दूसरी पुत्री दूसरी […]

धीरज का फल: प्रजा के सुख-दुख का ध्यान रखने वाले राजा की कहानी

धीरज का फल

धीरज का फल:- प्राचीनकाल में एक बड़ा प्रतापी राजा था। वह सदाचारी था और प्रजा के सुख-दुख का ध्यान रखता था। उसके राज्य में ऊंच-नीच या अमीर-गरीब का भेद नहीं था। रानी भी पतिव्रता और सुंदर थी। उसके दो पुत्र थे। दोनों ही प्रतिभाशाली और बुद्धिमान थे। राजा सत्य, अहिंसा और प्रेम में विश्वास रखता […]

धोखेबाज की हार: ईमानदार और परिश्रमी किसान की कहानी

धोखेबाज की हार

धोखेबाज की हार:- एक गांव में एक किसान रहता था। वह बहुत ईमानदार और परिश्रमी था। वह हमेशा यही कहा करता था कि जैसा कोई करता है, वैसा ही फल उसे मिलता है। सारे गांव में यह मशहूर था कि किसान को कितना भी प्रलोभन क्यों न दिया जाए, वह कभी किसी से बेईमानी या […]

अभिमान का अंत: साकार ज्ञान का भंडार समझे जाने वाले आचार्य की कहानी

अभिमान का अंत

अभिमान का अंत:- आचार्य कालक जैन धर्म के महान ज्ञाता थे। वह साकार ज्ञान का भंडार ही समझे जाते आचार्य थे। दूर-दूर तक उनके ज्ञान का प्रकाश सूर्य के तेज की तरह फैला हुआ था। उनके शिष्यों और प्रशिष्यों की संख्या बहुत थी उनका सारा जीवन परोपकार में बीत रहा था। सभी तरफ उनका यश […]

राजा की परीक्षा: प्रतापी और दयालु राजा की कहानी

राजा की परीक्षा

राजा की परीक्षा:- बहुत समय पहले की बात है। श्रावस्ती में सुमति सेन नामक राजा राज्य करता था। वह प्रतापी और दयालु था। सारी प्रजा सुख से रह रही थी। उसके राज्य में न्याय और सुख दुख का ध्यान सबसे पहले किया जाता था। राजा धर्म के कामों में गहरी रुचि लेता था। उसने अहिंसा […]

चतुर मां और तीन बेटियां : तीन बेटियां और चतुर मां की कहानी

चतुर मां और तीन बेटियां

चतुर मां और तीन बेटियां: एक नगर में एक ब्राह्मणी रहती थी। उसकी तीन बेटियां थीं। ब्राह्मणी का पति काफी पहले मर चुका था। वह अपनी तीनों बेटियों के साथ दिन बिता रही थी। तीनों बेटियों की आयु में केवल एक-एक वर्ष का ही अंतर था। जब वे तीनों सयानी हो गई, तो मां को […]

चतुर मंत्री : चन्द्रगुप्त के मंत्री चाणक्य की कहानी

चतुर मंत्री

चतुर मंत्री: बहुत समय पहले की बात है। पाटलिपुत्र में राजा चन्द्रगुप्त का राज्य था। चन्द्रगुप्त का मंत्री चाणक्य बहुत चतुर था। वह राजा को सदा अच्छी सलाह देता था, जिससे राजा अच्छे काम ही करता था। सारी प्रजा सुखी थी। सब एक दूसरे के सुख में सुखी और दुख में दुखी होते थे। राजा […]