मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स क्या है: मोबाइल रिपेयरिंग कम्युनिकेशन एवं इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग का महत्वपूर्ण ब्रांच है। रोजाना हम सुबह से रात तक मोबाइल का काफी इस्तेमाल करते हैं। मोबाइल ((Mobile Repairing Course)) हमारी जरूरत का हिस्सा बन गया है। मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स इन हिंदी।
मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स क्या है

Mobile Repairing Course
यदि किसी कारणवश मोबाइल फोन काम करना बंद कर दें या गुम हो जाए तो हम बेचैन होने लगते हैं और मन चिंताओं से भर जाता है।ऐसा इसलिए होता है क्योंकि हमारे महत्वपूर्ण डांटा और कई लोगों के मोबाइल नंबर भी होते हैं । यदि यह डाटा किसी कारणवश खो जाए तो हमें बहुत सी अड़चनों का सामना करना पड़ सकता है।
जब कभी भी हमारा मोबाइल खराब हो जाता है तो इसे हम मोबाइल रिपेयरिंग की दुकान पर ठीक कराने के लिए जमा करते हैं। इन्हीं वजह से आज के दौर में मोबाइल रिपेयरिंग का कोर्स (Mobile repairing course ) काफी पॉपुलर हो रहा है।
क्या है मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स का सिलेबस
इस कोर्स में मोबाइल की रिपेयरिंग और सर्विसिंग दोनों के विषय को पूरी तरह कवर किया गया है और इसे चार भागों में बांटा गया है।
- बेसिक इलेक्ट्रॉनिक्स और मोबाइल रिपेयरिंग का बेसिक
- हार्डवेयर रिपेयरिंग
- बेसिक और एडवांस ट्रबल शूटिंग
- सॉफ्टवेयर रिपेयरिंग
बेसिक इलेक्ट्रॉनिक्स ऑल मोबाइल रिपेयरिंग का बेसिक
कोर्स के इस यूनिट के दौरान छात्रों को मोबाइल फोन और इलेक्ट्रॉनिक्स की बिल्कुल बेसिक जानकारी दी जाती है। जो छात्र इलेक्ट्रॉनिक इंजीनियरिंग करके आए हैं उन्हें पहले से ही इस मॉडल के बारे में पूरी जानकारी होती है। इस यूनिट के अंतर्गत कई टॉपिक होते हैं जैसे:-
- डिजिटल इलेक्ट्रॉनिक्स का अध्ययन
- मोबाइल कम्युनिकेशन का बेसिक
- मोबाइल रिपेयरिंग मैं इस्तेमाल होने वाले और जार और उपकरणों का अध्ययन
- विभिन्न मोबाइल फोन का असेंबली और डिसेंबलिंग
- मोबाइल फोन के पार्ट्स का अध्ययन
- डीसी पावर सप्लाई का उपयोग
- मल्टीमीटर का उपयोग
हार्डवेयर रिपेयरिंग
किस यूनिट के अंदर छात्रों को मोबाइल फोन के हार्डवेयर को ठीक करना सिखाया जाता है। और इसके साथ ही गैजेट के इलेक्ट्रॉनिक पार्ट्स को बदलना और संभालना दोनों ही सिखाया जाता है। इस कोर्स के अंदर आपको कई टॉपिक सीखने को मिलेंगे:-
- मदरबोर्ड के कॉम्पोनेंट का डिटेल
- प्रिंटेड सर्किट बोर्ड यानी मदर बोर्ड का इंट्रोडक्शन और अध्ययन
- विभिन्न कॉम्पोनेंट और पार्ट्स का टेस्टिंग करना
- मदरबोर्ड पर उपयोग होने वाली आईसी का अध्ययन
- चिप की पहचान करना
- विभिन्न एसएमडी और भेजिए की रिहीटिंग और माउंटिंग करना
- कॉम्पोनेंट्स को सोल्डरिंग और डी सोल्डरिंग करना
बेसिक और एडवांस ट्रबलीशूटिंग
मोबाइल के यूजर की बार-बार शिकायत आने पर यह बात समझना बहुत महत्वपूर्ण हो जाता है कि आखिर में समस्या क्या है इस समस्या का समाधान पाने के लिए छात्रों को हार्डवेयर और सॉफ्टवेयर दोनों में ही निपुण होना चाहिए। इस यूनिट के दौरान छात्रों को प्रैक्टिकल द्वारा बेसिक और एडवांस ट्रबल शूटिंग मॉड्यूल के बारे में बताया जाता है। इसके अंदर आने वाले टॉपिक है:-
- ट्रबल शूटिंग
- पानी से नुकसान पर रिपेयर तकनीक
- हार्डवेयर समस्या आने पर मोबाइल की प्लानिंग करना
- सॉफ्टवेयर की समस्या पर मोबाइल रिपेयर करना
- सर्किट ट्रेसिंग
- समस्याओं का समाधान के लिए इंटरनेट का उपयोग
- एडवांस ट्रबल शूटिंग तकनीक
सॉफ्टवेयर रिपेयरिंग
मोबाइल में आने वाली सबसे आम परेशानी है सॉफ्टवेयर की। यूआई का क्रश होना या यू आई में अपडेट होना यह सभी सॉफ्टवेयर डोमेन मैं आता है। इस कोर्स के अंतर्गत मोबाइल में उपयोग होने वाली सॉफ्टवेयर को रिपेयर करना सिखाया और पढ़ाया जाता है। इसके अंतर्गत कई टॉपिक है जैसे:-
- सीक्रेट कोड तोड़ना
- कोरिया सॉफ्टवेयर के माध्यम से फोन को अनलॉक करना
- फोन से वायरस को हटाना
- फ्लैश बॉक्स और सॉफ्टवेयर का इंट्रोडक्शन
- सॉफ्टवेयर के खराब हो जाने पर उन्होंने वाली गलतियों की स्टडी
मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स का भविष्य
आज मार्केट में अलग-अलग ब्रांड के नए स्मार्टफोन आते जा रहे हैं। रोजाना कई लोगों को अपने फोन के हार्डवेयर सॉफ्टवेयर से जुड़ी कई समस्याओं का समाधान भी करना पड़ता है।
समस्या छोटी हो या बड़ी कोई भी व्यक्ति अपने मोबाइल को खुद से ठीक नहीं कर सकता जिसके लिए उन्हें मोबाइल तकनीक की दुकान पर जाने की जरूरत पड़ती है। जो छात्र मोबाइल रिपेयरिंग का कोर्स करना चाहते हैं या इस कोर्स को करने के बारे में सोच रहे हैं।
यह कोर्स उनके भविष्य के लिए बहुत अच्छा साबित होगा। इस कोर्स को पूरा करने पर भविष्य में आप अपने खुद का इलेक्ट्रॉनिक्स का दुकान खोल सकते हैं मोबाइल रिपेयरिंग का बिजनेस शुरू कर सकते हैं और स्मार्टफोन की बड़ी-बड़ी कंपनियों में भी नौकरी पा सकते हैं।
क्या है मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स की फीस
आपको यह बताते हैं कि मोबाइल रिपेयरिंग का कोर्स बहुत ही ज्यादा प्रचलन में आ रहा है। और भविष्य में भी इसकी उतनी ही मान्यता रहेगी। लेकिन हैरानी की बात तो यह है कि इसको उसको पूरा करने में ज्यादा फीस नहीं लगती। अलग-अलग शहरों में फीस अलग-अलग है लेकिन लगभग इस कोर्स की फीस ₹10,000 रुपये से लेकर ₹15000 तक ही होगी।
मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स करने के बाद की सैलरी
मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स के बाद आप को कितनी सैलरी मिलती है यह पूरी तरह इस बात पर निर्भर करता है कि आपने कौन सा कोर्स किया है और कितनी बड़ी कंपनी में आप काम करने जा रहे हैं। कोर्स करने के बाद आपको मोबाइल रिपेयरिंग के बारे में कितनी अधिक जानकारी है।
इन सब पर आपकी सैलरी निर्भर करती है। किसी व्यक्ति के अंदर कितनी प्रतिष्ठा योग्यता और कौशल है, यह बात भी मायने रखती है। शुरुआत में किसी भी कैंडिडेट को लगभग ₹12000 से ₹15000 तक का वेतन मिल सकता है। यदि आप में ज्यादा होना प्रतिष्ठा और काबिलियत है तो आपको इससे ज्यादा तनख्वाह भी मिल सकती है।
मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स के बाद टॉप कंपनियों में भर्ती
यदि आपने किसी मशहूर कॉलेज या तकनीकी विश्वविद्यालय से अपना मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स में डिप्लोमा व सर्टिफिकेट को हासिल कर लिया है तो आप इन कंपनियों में नौकरी कर सकते हैं:-
- लेनोवो
- श्यओमी
- एप्पल
- सैमसंग
- जिओ
- हुवाई
- सोनी
- रियलमी
इन बड़ी कंपनियों में छात्र अपना कोर्स पूरा करने के बाद नौकरी पा सकते हैं शुरुआत में उन्हें तकनीशियन के रूप में नौकरी मिल सकती है लेकिन एक बार अनुभव मिलने के बाद आप ऊंचे पद पर बढ़ते चले जाएंगे।
आज के तकनीकी दौर में जहां मोबाइल एक जरूरत बन गई है वहीं कई छात्रों को रोजगार का अवसर भी मिल रहा है। मोबाइल रिपेयरिंग कोर्स सीखने के बाद कई छात्रों का भविष्य अच्छा बन गया है।
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