प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना:- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी की अध्यक्षता में NDA केंद्र सरकार ने 31 मई 2019 को अपने दूसरे कार्यकाल की बैठक में एक ऐतिहासिक निर्णय लेते हुए प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना (PM Kisan Mandhan Yojana) को स्वीकृति प्रधान करती थी। प्रधानमंत्री जी के द्वारा चलाई गई प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना (PM Kisan Mandhan Yojana) के तहत यह एक स्वैच्छिक और अंशदान के ऊपर आधारित पेंशन योजना है। इसमें किसानों की आयु 60 वर्ष होने पर उनको ₹3000 की निर्धारित पेंशन न्यूनतम राशि प्रदान की जाएगी।
प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना

इस योजना के तहत किसानों को केंद्र सरकार की कृषि नीति के मुख्य लक्षण यह है कि किसानों का कल्याण हो और केंद्र सरकार उनके उत्पादन में बढ़ोतरी करें कृषि लागत को कम करें उच्च मूल्य वाली फसलों को प्राथमिकता दें कृषि में होने वाले जोखिमों को कम करें और कृषि को एक सतत प्रक्रिया बनाने जैसे प्रयास कर रही है।
प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना’ एक नवोन्मेषी योजना है, जिसके अंतर्गत किसानों को सामाजिक सुरक्षा कवर उपलब्ध कराने हेतु केंद्र सरकार प्रतिबद्ध है। ऐसी आशा है कि यह योजना किसानों को सशक्त बनाएगी और व्यापक दक्षता का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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पीएम किसान मानधन योजना का उद्देश्य
प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना का मुख्य उद्देश्य यह है कि देश में छोटे और सीमांत किसानों को सरकार 60 साल की उम्र होने के बाद ₹3000 की पेंशन राशि उनको प्रदान करेगी। किसानों को इस तरह आर्थिक लाभ पहुंचाने से किसानों को दूसरों के आगे हाथ नहीं फैलाना पड़ेगा जिससे उनकी आर्थिक मदद होगी। इस योजना से छोटे किसान और सीमांत किसानों को अपने बुढ़ापे में आर्थिक स्थिति की वजह से परेशानियों का सामना नहीं करना पड़ेगा।
प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना के प्रमुख तथ्य
- यह एक स्वैच्छिक एवं अंशदान आधारित पेंशन योजना है, जिससे देश के सभी छोटे एवं सीमांत (Marginal) किसान लाभान्वित होंगे।
- स्वतंत्रता के बाद से यह प्रथम अवसर है, जब देश के किसानों के लिए इस प्रकार की पेंशन योजना की परिकल्पना की गई है।
- ऐसा अनुमानित है कि इस योजना के लागू होने के प्रथम तीन वर्षों में लगभग 5 करोड़ छोटे एवं सीमांत किसान इससे लाभान्वित होंगे।
- इस योजना के अंतर्गत प्रदान की जाने वाली वित्तीय सहायता ‘पीएम-किसान योजना’ के तहत प्रदत्त सहायता के अतिरिक्त होगी।
- किसानों के लिए इस योजना में शामिल होने की आयु 18-40 वर्ष निर्धारित है।
- 60 वर्ष की आयु प्राप्त करने पर 3000 रु. की न्यूनतम निर्धारित पेंशन दिए जाने का प्रावधान है।
- इस योजना के पात्र किसान द्वारा किए गए अंशदान के बराबर राशि ही केंद्र सरकार पेंशन निधि में जमा कराएगी।
- पेंशन प्राप्त करने के दौरान लाभार्थी किसान की मृत्यु होने की स्थिति में उसका पति/पत्नी पारिवारिक पेंशन प्राप्त करने का हकदार होगा और इस स्थिति में उसे लाभार्थी द्वारा प्राप्त की जा रही 50 प्रतिशत राशि पेंशन के रूप में प्राप्त होगी।
- अंशदान करने की अवधि के दौरान ही अंशदानकर्ता की मृत्यु होने की स्थिति में उसे पति/पत्नी के सामने नियमित अंशदान भुगतान द्वारा योजना को जारी रखने का विकल्प खुला होगा।
- इस योजना की एक खास बात यह भी है कि लाभार्थी किसान ‘प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि’ (PM-KISAN) योजना से प्राप्त लाभ से सीधे ही इस योजना में अपना मासिक अंशदान करने का विकल्प चुन सकता है।
- वैकल्पिक रूप से एक किसान इलेक्ट्रॉनिकी एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अंतर्गत ‘कॉमन सर्विस सेंटर’ (CSCs) के माध्यम से पंजीकरण कराकर भी अपने मासिक अंशदान का भुगतान कर सकता है।
- 25 जून, 2021 तक की अद्यतन स्थिति के अनुसार, ‘प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना के अंतर्गत लगभग 21 लाख से अधिक छोटे एवं सीमांत किसान लाभान्वित हो रहें हैं।
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